Tuesday, March 26, 2024
पातंजलयोगसूत्र (राजयोग)

योग के लक्ष्य एवं उद्देश्य Aim and Objectives in yoga

योग का लक्ष्य जीवन की प्रसुप्त, अविज्ञात व अजागृत शक्तियों का जागरण कर व्यक्तित्त्व को परम शिखर तक पहुँचाने की अपूर्व क्षमता का विकास करना है। योग प्राचीन भारतीय ऋषि-मुनियों, तत्त्ववेत्ताओं द्वारा प्रतिपादित अनमोल ज्ञान-विज्ञान से युक्त एक विशिष्ट पद्धति है। इसमें मनुष्य मात्र का समग्र उत्थान, विकास एवं उत्कर्ष के लिए अनेकाविध उपाय-प्रयोग सन्नियोजित है। अतः इसे मोक्ष का साधन भी कहते हैं। वस्तुतः योग एक जीवन पद्धति है, जीवन दर्शन है। यह जीवन जीने की सर्वश्रेष्ठ कला है।

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पातंजलयोगसूत्र (राजयोग)

योग क्या है ? अर्थ एवं परिभाषा – What is Yoga ? Meaning and Definition

योग भारतवर्ष की एक प्राचीनतम साधना पद्धति एवं सर्वसम्मत अविसम्वादि सार्वभौम सिद्धान्त है। यह भारतीय जीवन पद्धति का महत्वपूर्ण अंग है। इसे गुह्यविद्या या रहस्य विद्या भी कहा जाता है। इसका आधार कठोर तपस्या और साधना है। इस विद्या के आधार पर ऋषि-मुनियों ने प्रकृति के सूक्ष्म तत्त्वों का रहस्यात्मक ज्ञान प्राप्त किया था। इसके विषय में यहाँ पर सार-संक्षेप में वर्णन किया जा रहा है।

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